महासभा ने सामाजिक एकजुटता चौपाल में वितरित किया शिल्पी पहचान पत्र 

चकिया |       ऑल इंडिया यूनाइटेड विश्वकर्मा शिल्पकार महासभा ने आज दिन में चकिया के भीषमपुर गांव में रामजियावन दास बावला की छावनी पर आयोजित नव वर्ष अभिनंदन व सामाजिक एकजुटता तथा रोजगार अधिकार जागरूकता चौपाल में सैकड़ों परंपरागत कारीगरों को हस्तशिल्प विकास आयुक्त भारत सरकार द्वारा जारी शिल्पकार पहचान पत्र वितरित किया , इस अवसर पर मुख्य अतिथि राष्ट्रीय अध्यक्ष अशोक कुमार विश्वकर्मा ने समाज के गौरव भोजपुरी विधा के रचनाकार एवं गीतकार भीषमपुर गांव में जन्मे रामजियावन दास बावला को स्मरण करते हुए कहा बावला सामाजिक सरोकार रखने वाली अपनी रचनाओं के माध्यम से समाज से जुड़े महान पुरोधा थे , उन्होंने परंपरागत आध्यात्मिक रचनाओं के साथ शोषण उत्पीड़न असमानता भेदभाव अन्याय और अत्याचार के खिलाफ अपनी रचनाओं के माध्यम से बिना किसी भेदभाव के समाज के हर वर्ग को जागरूकता और एकजुटता का संदेश दिया , उन्होंने आपसी पूर्वाग्रह को सामाजिक अस्तित्व के लिए गंभीर चुनौती बताते हुए कहा यह समाज की एकता में सबसे बड़ी बाधा है तथा विभिन्न गुटों में बंटे हुए नेतृत्व के चलते आज समाज पर चौतरफा हमले हो रहे हैं उन्होंने कहा असमानता उपेक्षा उत्पीड़न और अन्याय के खिलाफ स्वाभिमान की रक्षा तथा सामाजिक परिवर्तन और प्रत्येक क्षेत्र में समान भागीदारी एवं विकास के लिए हमें जागरूक व संगठित होना होगा , जिसके लिए संगठन देशव्यापी सामाजिक एकजुटता अभियान चला रहा है उन्होंने संगठन के विस्तार पर बल देते हुए समाज के आर्थिक विकास के लिए सरकार द्वारा संचालित विभिन्न योजनाओं के संबंध में जानकारी दीे और इससे लाभ उठाने तथा पंचायत चुनाव में बड़ी संख्या में चुनाव लड़ने हेतु आगे आने का आह्वान किया , कार्यक्रम की अध्यक्षता बसंत लाल विश्वकर्मा एवं संचालन राजेश कुमार विश्वकर्मा ने किया , विचार व्यक्त करने वाले लोगों में प्रमुख रूप से श्रीकांत विश्वकर्मा , डॉ. प्रमोद कुमार विश्वकर्मा , दीनदयाल विश्वकर्मा , सुरेश विश्वकर्मा , महेंद्र विश्वकर्मा , राजेश विश्वकर्मा , कैप्टन विजय नारायण विश्वकर्मा , फौजी श्याम लाल विश्वकर्मा , रामअवतार विश्वकर्मा , मोहन विश्वकर्मा , महेंद्र विश्वकर्मा , सदानंद विश्वकर्मा , दिलकश भारती , श्याम बिहारी विश्वकर्मा , डॉ. ओमपप्रकाश विश्वकर्मा , आचार्य रामकेश विश्वकर्मा , कवि अलियार गिरधारी लाल विश्वकर्मा , पारसनाथ विश्वकर्मा सहित बड़ी संख्या में लोग उपस्थित थे        |