सिद्धार्थनगर की दिव्यांग छात्रा गोरखपुरवाशियों के लिये बना रही है मास्क

छात्रा के द्वारा बने लगभग 2 हज़ार मास्क लगा रही है गोरखपुर की जनता 

गोरखपुर  / जोखन प्रसाद  |  कोरोना वॉयरस जैसी वैश्विक महामारी बीमारी से  गोरखपुर वासियों को निजात दिलाने के लिए सिद्धार्थनगर की दिव्यांग छात्रा रेखा साहनी उम्र 23 वर्ष इन दिनों गोरखपुर वाशियों के लिये मास्क बनाकर और लोगों के बीच पहुंचा कर उनके जीवन की रक्षा का बीड़ा बखूभी उठा रही है , सिद्धार्थनगर जिले की दिव्यांग छात्रा रेखा साहनी पुत्री स्वर्गीय जगदीश साहनी ग्राम कोटिया पांडे की रहने वाली है , गोरखपुर जिले में पीसीएस की तैयारी करने के लिए 7 जनवरी  2019 को अपना  सपना संजोये और उसको पूरा करने के लिये गोरखपुर आई ।

विश्वकर्मापुरम पादरी बाजार में एक किराए के मकान में दो सहेलियों के साथ रहने लगी , लेकिन इसी बीच वैश्विक महामारी कोरोना ने पूरे देश में दस्तक दे दिया , भारत सरकार ने कोरोना वायरस के प्रभाव को रोकने व कम करने के लिए लॉक डाउन जैसा प्रभावी कदम उठाया , इस लॉक डाउन में रेखा की दो सहेलियां तो अपने घर चली गई लेकिन छात्रा रेखा साहनी इस लॉक डाउन में गोरखपुर में ही फंस गई और वह अपने घर नहीं जा पाई , दिव्यांग छात्रा रेखा साहनी के दाएं हाथ में 60% तक दिक्कत है , जो कि यह हाथ की समस्या उनके बचपनकाल से ही है , छात्रा रेखा 4 बहनों व 2 भाइयों में सबसे छोटी है , हाई स्कूल व इंटरमीडिएट के बाद सिद्धार्थ महाविद्यालय बर्डपुर सिद्धार्थ नगर से एम ए पॉलिटिकल साइंस शिक्षा ग्रहण किया , गोरखपुर में  रेखा ने कंप्यूटर की डिग्री के लिए  एडवांस डिप्लोमा फाइनेंसियल एकाउंटिंग का कोर्स भी किया , इसके साथ ही रेखा ने आई टी आई का भी कोर्स किया है ।

इस बीच गोरखपुर में पीसीएस की तैयारी के लिए कोचिंग संस्थान की तलाश में जुट गई थी इसी बीच पूरे देश में कोरोना वायरस ने अपना दस्तक दे दिया और उसके बाद गोरखपुर में ही लाक डाउन में छात्रा फस गई और घर नहीं जा पाई , इस इस बीच छात्रा रेखा साहनी ने खुद ही लॉक डाउन में फंसते हुए दूसरों की मदद करने का एक नायाब तरीका ढूंढा और लोगों की जीवन की सुरक्षा के लिए मास्क बनाना शुरू कर दिया , छात्रा रेखा के द्वारा लगभग 2,000 बनाए मास्क के द्वारा गोरखपुर के लोगो के जीवन की सुरक्षा हो रही है ,  छात्रा रेखा ने अपने द्वारा बनाए गए मास्क को सबसे पहले पादरी बाजार चौकी इंचार्ज को सौंपा जिससे यह मास्क ज़रूरत मन्दो के बीच पहुंच सके, फिर अखबार बाटने वाले हॉकरों की मदद ली , अपने कम्प्यूटर टीचर की मदद ली, उसके बाद छात्रा रेखा ने कोरोना से दो दो हाथ करने के लिये खुद जंग में कूद पड़ी और जरूरत मन्दो के बीच खुद ही पहुँचकर लोगों को मास्क देने लगी ।

सिलाई की कला का हुनर छात्रा ने आठवीं क्लास में माँ के हाथों से सीखा

लोगों को मास्क देने के दौरान छात्रा लोगो को जागरूक करती रहती थी कि आप सभी लोग सोसल डिस्टेंसिनग, बेवजह घर से बाहर न निकले, हमेसा घर से बाहर निकलते वक्त मास्क का प्रयोग ज़रूर करे , सिद्धार्थनगर से गोरखपुर ज़िले में आकर गोरखपुरवाशियों की सेवा करने में   रेखा ने बताया कि इसमें उनकी बड़ी दीदी का विशेष योगदान रहता है और जब छात्रा रेखा क्लास आठ में थी उसी दौरान अपनी माँ के हाथों से सिलाई करने की कला को सीखा था जो आज अपने परिश्रम के पैसे इस लॉक डाउन से जैसे विपरीत परिस्थितियों में मास्क बनाकर लोगो की सेवा कर रही है , प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का कहना है कि कोई भी व्यक्ति बिना मास्क घर से बाहर न निकले साथ ही बिना मास्क लगाये पकड़ें जाने पर आपके ऊपर कानूनी कार्यवाही भी हो सकती है छात्रा रेखा मुख्यमंत्री के सपनो को भी पंख लगा रही है ताकि कोई भी व्यक्ति पैसे के अभाव में बिना मास्क के घर से बाहर न निकले , वास्तव में छात्रा रेखा साहनी इस कोरोना वॉयरस जैसी बीमारी से लोगो के जान की सुरक्षा कर रही है , सच्चे अर्थों में छात्रा रेखा साहनी की बात की जाये तो वह किसी कोरोना वारियर्स से कम नही है ।