पशु चिकित्सक करता है सांप काटने पर ईलाज स्वास्थ्य विभाग मौन ?

भदोही |    सरकार भले ही लोगों के स्वास्थ्य को मद्देनजर रखकर विभिन्न तरह की योजनाएं संचालित कर रही है और जगह जगह पर हास्पिटल और स्वास्थ्य केन्द्र भी बने है जहां पर लोगों का ईलाज आसानी से हो सके लेकिन स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही से जिले में झोलाछाप डाक्टरों और नीम हकीमों की भरमार है मानो ऐसा लगता है कि झोलाछाप और नीम हकीम सही चिकित्सकों से ज्यादा प्रभावशाली है जिन पर जिले का स्वास्थ्य महकमा फिदा है जबकि स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को ज्ञात होना चाहिए कि इन्ही झोलाछाप डाक्टरों और नीम हकीमों की वजह से कभी कभी लोगों की जिंदगी दांव पर लग जाती है लेकिन विभाग के जिम्मेदार लोग जैसे जानबूझकर मौन साधे है और किसी बडी घटना का इंतजार कर रहे है शनिवार को एक ऐसा ही मामला गोपीगंज थाना के क्षेत्र के इब्राहिमपुर गांव में दिखा जहां चेतनंद नामक एक तथाकथित पशु डाक्टर जो सांप काटने पर लोगों का बतौर नीम हकीम ईलाज करता है और मामला गंभीर देख रोगी को अन्यत्र ले जाने की बात करके बाहर भेज देता है |

शनिवार को भी एक मामला ऐसा ही दिखा जहां कोरोना क्षेत्र के इनारगांव (सोनपुर) निवासी ओमप्रकाश यादव की पत्नी सुनीता देवी को दोपहर में सांप कांट लिया तो लोग तथाकथित नीम हकीम व पशु डाक्टर चेतनंद के पास लेकर आये जहां पर चेतनंद ने सुनीता को तरह तरह की दवा दी लेकिन कोई सुधार नही हुआ अन्त में हालत बिगडते देख चेतनंद ने सुनीता के परिजनों से हास्पिटल ले जाने की बात कहकर अपना पल्ला झाड लिया और लाचार व विवश परिजन सुनीता को लेकर आनन फानन हास्पिटल ले गये अब यहां सवाल पैदा होता कि किसके आदेश या सहमति पर चेतनंद लोगों का सांप काटने पर ईलाज करता है सुनीता को ईलाज के नाम पर चेतनंद ने अपने यहां रोककर जो देरी की यदि कोई घटना घट जाती तो जिम्मेदार कौन ? चेतनंद जैसे नीम हकीम या स्वास्थ्य विभाग ? सवाल पैदा होता है कि क्या सांप काटने से जुडी उसके पास कोई डिग्री है ? कि यूं ही मनमानी लोगों की जान को जोखिम में डालकर अपने को बडा जानकार सिद्ध करना चाहता है ? चेतनंद क्षेत्र में पशु चिकित्सक के रूप में जाना जाता है और सांप काटने पर लोगों का ईलाज करने का दावा करता है आखिर कैसे एक ही व्यक्ति पशु चिकित्सा करता है और सांप कांटने पर लोगों का ईलाज भी चेतनंद सच में पशु चिकित्सा की डिग्री भी रखता है कि केवल झोलाछाप ही है जो लोगो के पशुओं का भी ईलाज करता है यदि इसी तरह स्वास्थ्य विभाग लापरवाही करता रहेगा तो न जाने कितने नीम हकीम और झोलाछाप डाक्टर अपने कार्यों से लोगों को ठगते रहेंगे यदि स्वास्थ्य विभाग झोलाछाप डाक्टरों और इस तरह के नीम हकीमों पर अपनी कृपा दृष्टि बनाये रखेंगे तो अक्सर जिले में घटनाएं होती रहेंगी   |